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Haryana News: हरियाणा के इस विभाग में कर्मचारियों ने किया बड़ा घोटाला, 700 कर्मचारियों ने दिया घोटाले को अंजाम

05:36 PM Dec 16, 2024 IST | Uggersain Sharma

Haryana News: हरियाणा में प्राथमिक कृषि ऋण समितियों से जुड़ा एक बड़ा घोटाला सामने आया है. जानकारी के मुताबिक पैक्स समितियों में बिना स्वीकृत पदों पर 715 कर्मचारी रखे गए थे जिन्हें 75,000 से 90,000 रुपये तक का मनमाना वेतन दिया जा रहा था. यह मामला सहकारिता विभाग के अधिकारियों और समितियों के संचालकों की मिलीभगत का परिणाम है.

बिना पद स्वीकृति के कर्मचारियों की नियुक्ति

सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार और सहकारी बैंक के प्रबंध निदेशक द्वारा भेजी गई प्रारंभिक जांच रिपोर्ट (unauthorized employees in PACS) के अनुसार, ये कर्मचारी बिना स्वीकृत पदों के काम कर रहे थे. सहायक रजिस्ट्रार कार्यालय और समितियों के संचालकों की मिलीभगत से यह घोटाला वर्षों से चल रहा था.

वेतन विसंगति का मामला कैसे उजागर हुआ?

हरियाणा के सहकारिता विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव अंकुर गुप्ता ने सहकारी समितियों के रजिस्ट्रार और हरको बैंक (HARCO Bank salary discrepancies) के एमडी को पत्र लिखकर सभी कर्मचारियों के वेतन का विवरण मांगा. प्रारंभिक जांच में पता चला कि सैकड़ों कर्मचारी बिना किसी आवश्यकता के नियुक्त किए गए थे और सरकारी धन का दुरुपयोग कर रहे थे.

किन जिलों में है सबसे ज्यादा फर्जीवाड़ा?

रिपोर्ट के मुताबिक, अंबाला, कुरुक्षेत्र, करनाल और कैथल जिलों की पैक्स समितियों (PACs fraud in Haryana districts) में सबसे ज्यादा घोटाले सामने आए हैं. इन जिलों में नियुक्त फर्जी कर्मचारियों को उनकी योग्यता से अधिक वेतन दिया जा रहा था.

करनाल के कर्मचारियों की हड़ताल

करनाल जिले की 98 पैक्स समितियों के 235 कर्मचारी वेतन वसूली के विरोध में हड़ताल पर चले गए. हरको बैंक के चेयरमैन हुकम सिंह भाटी (HARCO Bank employees strike) ने इस आंदोलन को यह भरोसा देकर खत्म कराया कि पूरे प्रदेश के लिए एक समान नीति बनाई जाएगी.

पूरे प्रदेश में समान नीति बनाने की तैयारी

हरको बैंक और सहकारिता विभाग (policy for PACS employees in Haryana) अब पूरे प्रदेश में फर्जी कर्मचारियों को हटाने और वेतन विसंगतियों को दूर करने की दिशा में काम कर रहे हैं. चेयरमैन हुकम सिंह भाटी ने कहा कि पैक्स समितियों का संचालन बैंक के अधीन करने पर भी विचार किया जा रहा है.

फर्जीवाड़े के पीछे का खेल

जांच में सामने आया कि फर्जी कर्मचारियों को नियुक्त करने के लिए राजनीतिक जुगाड़ (political influence in PACS appointments) और सहायक रजिस्ट्रार की मिलीभगत का सहारा लिया गया. यह कर्मचारी पैक्स समितियों के माध्यम से बैंक और सरकार का पैसा बटोरने में लगे थे.

वेतन विसंगति दूर करने की योजना

हरको बैंक ने करनाल जिले से शुरू होकर पूरे प्रदेश में सभी पैक्स समितियों (salary reform in Haryana PACS) में वेतन विसंगतियों को खत्म करने की योजना बनाई है. भविष्य में इस तरह के घोटालों को रोकने के लिए कड़े कदम उठाए जाएंगे.

सहकारिता मंत्री और मुख्यमंत्री का बयान

सहकारिता मंत्री डॉ. अरविंद शर्मा और मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी (CM's plan for PACS reforms) ने इस मामले में समान नीति लागू करने का आश्वासन दिया है. उनका कहना है कि प्राथमिक ऋण समितियों को पारदर्शी और कुशल बनाने के लिए व्यापक सुधार किए जाएंगे.

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